इंटरनेट पर एक किशोर लड़के को गोली लगने की तस्वीर सामने आई है, जिसमें दावा किया गया है कि इसमें 10वीं कक्षा के छात्र सुनील श्योराण को दिखाया गया है, जिसे कुछ साल पहले 13 सितंबर को जाट आरक्षण आंदोलन के दौरान गोली मार दी गई थी।
तस्वीर को एक कैप्शन के साथ शेयर किया जा रहा है जिसमे लिखा है कि, “दसवी में पढ़ने वालें सुनील श्योराण जिसने आज के दिन 13 सितम्बर को जाट आरक्षण आंदोलन में जाट कौम के लिए अपना बलिदान दिया था। भाई को नम आँखो से नमन”
यहाँ उपरोक्त पोस्ट का लिंक है। अधिक पोस्ट यहाँ, यहाँ, यहाँ और यहाँ देखी जा सकती हैं।
फैक्ट चेक
जब न्यूज़मोबाइल को यह तस्वीर मिली तो हमने इसकी पड़ताल की और पाया कि तस्वीर से जुड़े दावे झूठे हैं।
रिवर्स इमेज सर्च के माध्यम से तस्वीर डालने पर, हमने पाया कि यह चॉकी मेजरी द्वारा निर्देशित फिल्म ‘किंगडम ऑफ एंट्स’ का एक चित्र था और जो पहली बार मार्च 2012 में ट्यूनीशिया में रिलीज़ हुई थी।
किंगडम ऑफ एंट्स के ट्रेलर के 3:38 मिनट पर वायरल पोस्ट वाला लड़का दिखाई देता है।
2012 में मध्य पूर्व आधारित समाचार प्रकाशन ‘अल बावाबा‘ पर प्रकाशित एक रिपोर्ट के अनुसार, “ममलकत अल-नमल एक ऐसे परिवार के बारे में है जो टुकड़ों-टुकड़ों में उकेरी गई जमीन पर जीवित रहने के लिए संघर्ष कर रहा है और एक सपना जो रात दर रात कुचला जाता है। संघर्ष परिवार की विरासत है, ठीक वैसे ही जैसे चींटियाँ जीवित रहने के साधनों के लिए दैनिक हाथापाई करती हैं।”
बता दे कि 2019 में न्यूजमोबाइल ने उसी तस्वीर को खारिज कर दिया जब इसे फिलिस्तीन से एक तस्वीर के रूप में साझा किया जा रहा था।
जिससे साफ होता है कि तस्वीर के साथ जुड़े दावे झूठे हैं।