फैक्ट चेक: जबरन हाथ पकड़ कर वोट डलवाने का यह वीडियो हालिया दिनों का नहीं, जानें क्या है सच
सोशल मीडिया पर एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है यह वीडियो एक मतदान केंद्र का है, जहां मतदाता वोट करने जाते हैं। इस वीडियो में देखा जा सकता है कि वोट डालने आयी एक बुजुर्ग महिला से बूथ पर तैनात एक दूसरी महिला ने हाथ पकड़ कर ईवीएम मशीन पर वोट डलवाया। इसी वीडियो को हालिया दिनों में शेयर कर दावा किया जा रहा है कि लोगों से इसी तरह हाथ पकड़ कर वोट डलवाया जा रहा है, और इसी तरह भाजपा का 400 सीट पार का एजेंडा पूरा होगा।
वायरल पोस्ट को सोशल मीडिया पर शेयर कर हिंदी भाषा के कैप्शन में लिखा गया है कि “यह वीडियो सोते हुए @ecisveep के मुंह पर जोरदार तमाचा है, जो देश में निष्पक्ष चुनाव कराने का ढोंग करता रहता है। कहीं BJ Party के 400 पार होने का सपना चुनाव आयोग से होकर तो नहीं गुजरता है। जो इतने भरोसे के साथ में 400 पार होने का अलाप रट रहे हैं l”
वायरल पोस्ट का लिंक यहाँ देखें।
फैक्ट चेक:
न्यूज़मोबाइल की पड़ताल में हमने जाना कि वायरल वीडियो हालिया दिनों का नहीं बल्कि साल 2019 के दौरान का है।
वायरल वीडियो की सच्चाई जानने के लिए हमने पड़ताल की। सबसे पहले हमने वायरल वीडियो को कुछ कीफ्रेम्स में तोड़ा और फिर गूगल परे रिवर्स इमेज सर्च टूल के माध्यम से खोजना शुरू किया। खोज के दौरान हमें वायरल वीडियो Deepak khatri नामक ट्विटर यूजर द्वारा अप्रैल 09, 2021 को किए गए एक पोस्ट में मिला। हालांकि यहां वीडियो की कोई सटीक जानकारी नहीं दी गयी थी। लेकिन यह साफ़ हो गया था कि वायरल वीडियो हालिया दिनों का नहीं बल्कि कुछ साल पुराना।
Will the Election Commission give any clarification on this ??? @ECISVEEP pic.twitter.com/KYhv45xigh
— Deepak Khatri (@Deepakkhatri812) April 9, 2021
वीडियो की अधिक जानकारी के लिए हमने गूगल पर बारीकी से खोजना शुरू किया खोज के दौरान हमें एक और ट्विटर पोस्ट मिला जहां वायरल वीडियो को अपलोड किया गया था। यह पोस्ट हिंदुस्तान के पोलिटिकल एडिटर द्वारा मई 15, 2019 में किया गया था। हालांकि यहाँ भी वीडियो की कोई जानकारी नहीं दी गयी लेकिन यह साफ़ है कि वीडियो हालिया दिनों का नहीं बल्कि साल 2019 के दौरान से ही इंटरनेट पर समय दर समय के साथ वायरल किया जा रहा है।
Another achievement #ElectionCommission. Shocking to say the least. pic.twitter.com/yT4k9yEtMG
— Vinod Sharma (@VinodSharmaView) May 15, 2019
पड़ताल के दौरान मिले तथ्यों से हमने जाना कि वायरल वीडियो हालिया दिन का नहीं बल्कि साल 2019 के दौरान का है। इसका हालिया लोकसभा चुनावों से कोई संबंध नहीं है।