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सरकार का भारत को लेकर दृष्टिकोण तय योजना के तहत, देश में निवेश बढ़ाने की है योजना: सीतारमण

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राज्यसभा में बजट पर सामान्य चर्चा का जवाब देते हुए, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शुक्रवार को कहा कि बजट राजकोषीय समेकन रोडमैप पर समझौता किए बिना निवेश को बढ़ावा देगा.

उन्होंने कहा, “बजट राजकोषीय समेकन रोडमैप पर समझौता किए बिना निवेश को बढ़ावा देने वाला है. केंद्र का 2019-20 के लिए कुल कर राजस्व 16.49 लाख करोड़ रुपये है, जो पिछले वर्ष की तुलना में 11.13 प्रतिशत अधिक है.

5 जुलाई को अपना पहला बजट पेश करने वाली सीतारमण ने, भारत को $ 5 ट्रिलियन अर्थव्यवस्था बनाने को लेकर सरकार पर निशाना साधने वाले पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम को आड़े हाथों लिया.

उन्होंने तर्क दिया कि बजट में प्रस्तुत बड़ी तस्वीर को एक योजना के साथ समर्थित किया गया था और अगले 10 वर्षों के लिए व्यापक कदमों की परिकल्पना की गई है.

उन्होंने आगे कहा कि प्रत्येक अनुमान या प्रक्षेपण जो दिया गया है वह यथार्थवादी है. “जब हम कहते हैं कि हमारे पास भारत के लिए एक दृष्टिकोण है, यह बिना योजना के नहीं है और योजना देश में आने वाले निवेश को बढ़ाने की है.”

उन्होंने कहा कि भारत को 5 मिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने के लिए सरकार का लक्ष्य ‘योजना के बिना’ नहीं था और चिदंबरम पर, जो सदन में मौजूद नहीं थे, बजट को “साधारण अंकगणित” और “कंपाउंड का जादू” कहने के लिए निशाना साधा.

सदन में कांग्रेस सदस्यों की ओर से विरोध होने पर उन्होंने कहा,“क्या यही वजह है कि यूपीए के दौरान, अर्थव्यवस्था पर कोई ध्यान नहीं दिया गया, लेकिन घोटालों पर काम चल रहा था. सारा ध्यान वहीं था. अर्थव्यवस्था वैसे भी पांच साल में दोगुनी हो जाएगी. आप परेशान ना हों और व्यक्तिगत आय में वृद्धि पर ध्यान केंद्रित करें.”

वित्त मंत्री ने कहा: “मुद्रास्फीति की दर, मुद्रा का मूल्यह्रास और विनिमय दर … इतनी सारी चीजों का प्रबंधन करना होगा ताकि देश की अर्थव्यवस्था दोगुनी हो जाए … यह इतना आसान नहीं है… ”

उन्होंने चिदंबरम द्वारा लगाए गए आरोपों का बिंदु-दर-बिंदु खंडन किया, जिसमे उन्होंने विशेष रूप से आयकर और जीएसटी लक्ष्य और अर्थव्यवस्था के अनुमान को ‘अवास्तविक’ कहा था.

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निर्मला सीतारमण ने चिदंबरम के सवालों का जवाब देते हुए कहा,“ये सभी बहुत यथार्थवादी हैं। हम इन लक्ष्यों को पूरी तरह से प्राप्त करेंगे.”

पूर्व वित्त मंत्री के इस हमले के जवाब में, कि मोटे तौर पर निर्णय या “संरचनात्मक सुधार” पेश किये गए बजट से गायब थे, जबकि एक बड़े जनादेश के साथ सरकार केंद्र में आयी है, उन्होंने कहा कि जीएसटी सबसे बड़ा सुधार था जो भाजपा सरकार ने किया.

जीएसटी विधेयक को पारित करने में बाधाएं डालने के लिए और राहुल गांधी के इसे ‘गब्बर सिंह टैक्स’ कहने पर उन्होंने कांग्रेस पर निशाना साधा.

कृषि संकट के आरोपों पर, सीतारमण ने कहा कि किसानों की आय दोगुनी करने के लिए सरकार द्वारा अपनाई गई रणनीतियाँ समिति की सिफारिशों पर आधारित थीं.