बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के बीते दिन ‘अंतिम चुनाव’ वाले बयान पर जनता दल यू ने सफाई दी है। उनके इस बयान के बाद मचे सियासी बवाल के बाद प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण ने कहा कि नीतीश कुमार के ‘अंतिम चुनाव’ कहने का मतलब अंतिम चुनाव प्रचार या अंतिम चुनावी सभा थी। उन्होंने कहा कि इस बयान को लेकर विपक्षी बड़ा रस ले रहे हैं लेकिन सच यह है कि नीतीश कुमार कहीं नहीं जाने वाले हैं। वह रिटायर होने के बारे में सोच भी नहीं सकते।
आज भी नीतीश करते है 13 से 14 घंटे काम – प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण।
नितीश के इस बयान के बाद मचे सियासी जंग के बाद प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण ने सफाई देते हुए कहा कि आज भी नीतीश 13 से 14 घंटे लगातार काम करते हैं। उनकी कार्यक्षमता पर कोई सवाल नहीं उठा सकता। इसके साथ उन्होंने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि असल में विपक्ष के नेता सतही जानकारी के आधार पर चुनाव लड़ रहे हैं। उनके पास न कोई योजना है न कोई दृष्टि।
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— Janata Dal (United) (@Jduonline) November 5, 2020
जेडीयू के प्रवक्ता अजय आलोक ने भी दी सफाई।
नितीश के इस बयान के बाद जेडीयू के प्रवक्ता अजय आलोक ने भी नीतीश कुमार के ‘अंतिम चुनाव’ वाले बयान का आशय स्पष्ट किया। उन्होंने कहा कि ‘अंतिम चुनाव’ का मतलब ‘अंतिम चुनाव प्रचार’ था। नीतीश जी कहीं नहीं जाने वाले हैं। इस बात का तिल का ताड़ बनाने की जरूरत नहीं है। नीतीश जी ने 2004 के बाद कोई चुनाव नहीं लड़ा यह तो सबसे ज्यादा विपक्ष के नेता ही कहते हैं। तो फिर उनके लिए अंतिम चुनाव का क्या मतलब है।
क्या कहा था नितीश कुमार ने।
दरअसल सीएम नीतीश कुमार बीते दिन पूर्णिया के धमदाहा में एक चुनावी जनसभा को संबोधित कर रहे थे। उसी दौरान नीतीश कुमार ने कहा था, ‘‘आज चुनाव प्रचार का अंतिम दिन है. परसों मतदान है और यह मेरा अंतिम चुनाव है। अंत भला तो सब भला।’ नीतीश के इस बयान के बाद बिहार की राजनीति में भूचाल आ गया था और विपक्ष उन पर हमलावर हो गया।
#WATCH आज चुनाव का आखिरी दिन है, परसों चुनाव है और ये मेरा अंतिम चुनाव है। अंत भला तो सब भला: पूर्णिया में बिहार के सीएम नीतीश कुमार #BiharElections2020#BiharElection2020 #BiharPolls #BiharElections #BattleForBihar @BJP4Bihar @NitishKumar pic.twitter.com/0v5ALQj0FA
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तेजस्वी यादव समेत चिराग पासवान ने भी किया था कटाक्ष।
महागठबंधन की ओर से सीएम कैंडिडेट तेजस्वी यादव ने ट्वीट कर कहा, ‘आदरणीय नीतीश जी बिहारवासियों की आकांक्षाओं, अपेक्षाओं के साथ-साथ ज़मीनी हकीकत भी स्वीकार करने को तैयार नहीं थे। हम शुरू से कहते आ रहे है कि वो पूर्णत: थक चुके हैं और आज आखिरकार उन्होंने अंतिम चरण से पहले हार मानकर राजनीति से संन्यास लेने की घोषणा कर हमारी बात पर मुहर लगा दी।’
मैं जो बात पहले से कहता रहा हूं कि नीतीश कुमार जी थक चुके हैं, उनसे बिहार संभल नहीं रहा है। वो जमीनी हकीकत को पहचान नहीं पाए और जब उन्हें अहसास हुआ तो उन्होंने संन्यास लेने की घोषणा कर दी: तेजस्वी यादव, राजद @yadavtejashwi @RJD4india #BiharElection2020 #BiharPolls pic.twitter.com/XUPs99YuEm
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चिराग पासवान ने भी कसा था ये तंज ।
अगर रणभूमि से नेता ही गद्दी छोड़ कर भाग जाए तो बाकी के लोग क्या करेंगे? अब JDU का कोई अस्तित्व नहीं बचा है। अगर नीतीश कुमार जी ये सोच रहे हैं कि ये घोषणा करके वो जांच की आंच से बच जाएंगे तो ये मैं होने नहीं दूंगा: चिराग पासवान, लोजपा अध्यक्ष
@LJP4India @iChiragPaswan #Bihar pic.twitter.com/Mtrcti643G
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