अमेरिका: राष्ट्रपति चुनाव की वोटिंग से पहले आयी कई सर्वों की रिपोर्ट, कहीं ट्रंप पीछे, तो कहीं हैरिश
अमेरिकी के राष्ट्रपति चुनाव की वोटिंग से पहले डोनाल्ड ट्रंप और कमला हैरिस के बीच कांटे की टक्कर देखने को मिल रही है। चुनावी मैदान में रिपब्लिकन पार्टी की ओर से उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप पूरी ताकत लगाए हुए हैं, वहीं डेमोक्रेटिक पार्टी की उम्मीदवार कमला हैरिस भी अपनी पार्टी की सरकार बचाने के लिए जी जान से जुटी हुई हैं।
डोनाल्ड ट्रंप को इस राज्य से लगा सकता झटका
लेकिन इस दौरान कुछ सर्वे ने पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को झटका लगता दिख रहा है। बता दें कि प्राइमरी चरण के दौरान आयोवा को डेमोक्रेट और रिपब्लिकन दोनों ही पार्टियों ने नजरअंदाज किया था, लेकिन अब वही चुनावी जंग में एक स्विंग स्टेट बनने की क्षमता रखता दिख रहा है। एक सर्वे के अनुसार, यहां से हैरिस ने ट्रंप पर बढ़त बना ली है। गौरतलब है कि डेस मोइनेस रजिस्टर अखबार के नवीनतम सर्वे में ये सामने आया है कि हैरिस महिलाओं और स्वतंत्र मतदाताओं के समर्थन से ट्रंप पर 47 प्रतिशत से 44 प्रतिशत आगे चल रही हैं।
कमला हैरिस इस राज्य में चल रही है पीछे
वहीं एटलसइंटेल के ताजा सर्वे के मुताबिक डोनाल्ड ट्रंप सभी 7 स्विंग स्टेट्स में आगे चल रहे हैं। इस सर्वेक्षण में 49 फीसदी उत्तरदाताओं ने कहा कि वे आगामी राष्ट्रपति चुनाव में ट्रंप को वोट देंगे। ट्रंप सर्वे के मुताबिक इन राज्यों में कमला हैरिस पर 1.8% की बढ़त बनाए हुए हैं। यह सर्वेक्षण नवंबर के पहले दो दिन में किया गया और इसमें 2500 अमेरिकी लोगों ने हिस्सा लिया। सर्वे में हिस्सा लेने वाली ज्यादातर महिलाएं हैं। चुनावी संग्राम अब जब आखिरी मुकाम पर पहुंच रहा है, सभी की नजरें स्विंग स्टेट्स पर टिक गई हैं।
स्विंग स्टेट्स की है यह भूमिका
गौरतलब है कि अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव को 3 तरह के राज्य तय करते हैं। पहले रेड स्टेट्स, ब्लू स्टेट्स और तीसरा स्विंग स्टेट्स। रेड स्टेट पर साल 1980 के दशक से ट्रंप की रिपब्लिकन पार्टी का लगातार कब्जा रहा है। वहीं ब्लू स्टेट्स पर डेमोक्रेटिक पार्टी का कब्जा रहा है। इन राज्यों पर साल 1992 से ही डेमोक्रेटिक पार्टी का कब्जा है। इससे यह अनुमान लग जाता है कि ये राज्य की किस ओर बढ़ रहे हैं। वहीं स्विंग स्टेट्स में रिपब्लिकन और डेमोक्रेटिक पार्टी के बीच बहुत ही कड़ा मुकाबला रहता है। इन राज्यों में बहुत ही कम वोटों से कोइ भी उम्मीदवार जीत पाता है।