देश के प्रधानमंत्री मोदी ने सोमवार (10 अगस्त) को चेन्नई और पोर्ट ब्लेयर को जोड़ने वाले सबमरीन ऑप्टिकल फाइबर केबल का उद्घाटन किया. पीएम मोदी ने ही दिसंबर 2018 में परियोजना की आधारशिला रखी थी. 1224 करोड़ रुपये की लागत से लगभग 2300 किलोमीटर लंबी सबमरीन ऑप्टिकल फाइबर केबल बिछाई गई है. समंदर के भीतर केबल बिछाने का ये पूरा काम सरकारी कंपनी BSNL ने किया है.
दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए चेन्नई और पोर्ट ब्लेयर को जोड़ने वाली सबमरीन ऑप्टिकल फाइबर केबल(OFC) का उद्घाटन किया। @narendramodi pic.twitter.com/V7OS6ZY1OO
— NewsMobile Samachar (@NewsMobileHindi) August 10, 2020
पीएम मोदी ने अपने संबोधन में कहा कि समंदर के भीतर करीब 2300 किलोमीटर तक केबल बिछाने का ये काम समय से पहले पूरा करना, अपने आप में बहुत प्रशंसनीय है। गहरे समंदर में सर्वे करना, केबल की क्वालिटी मेनटेन रखना, विशेष जहाजों के जरिये केबल को बिछाना इतना आसान भी नहीं है। जितना बड़ा ये प्रोजेक्ट था, उतनी ही विराट चुनौतियां थीं। ये भी एक वजह थी कि बरसों से इस सुविधा की जरूरत महसूस होते हुए भी इस पर काम नहीं हो पाया था।
पीएम मोदी ने कहा – अंडमान निकोबार को बाकी देश और दुनिया से जोड़ने वाला ये ऑप्टिकल फाइबर प्रोजेक्ट, Ease of Living के प्रति हमारी प्रतिबद्धता का प्रतीक है। ऑनलाइन पढ़ाई हो, टूरिज्म से कमाई हो, बैंकिंग हो, शॉपिंग हो या Tele-medicine दवाई हो, अब अंडमान निकोबार के हज़ारों परिवारों को भी ये ऑनलाइन मिल पाएंगी।
चेन्नई से पोर्ट ब्लेयर, पोर्ट ब्लेयर से लिटिल अंडमान और पोर्ट ब्लेयर से स्वराज द्वीप तक, अंडमान निकोबार के एक बड़े हिस्से में ये सेवा आज से शुरु हो चुकी है। समंदर के भीतर करीब 2300 किलोमीटर तक केबल बिछाने का ये काम समय से पहले पूरा करना,अपने आप में बहुत प्रशंसनीय है: प्रधानमंत्री pic.twitter.com/TfTKC6MeJz
— NewsMobile Samachar (@NewsMobileHindi) August 10, 2020
आज अंडमान को जो सुविधा मिली है, उसका बहुत बड़ा लाभ वहां जाने वाले टूरिस्टों को भी मिलेगा। बेहतर नेट कनेक्टिविटी आज किसी भी टूरिस्ट डेस्टिनेशन की सबसे पहली प्राथमिकता हो गई है। Act-East policy के तहत पूर्वी एशियाई देशों और समंदर से जुड़े दूसरे देशों के साथ भारत के मज़बूत होते रिश्तों में अंडमान निकोबार की भूमिका बहुत अधिक है और ये निरंतर बढ़ने वाली है।
ये भी पढ़े : पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी हुए कोरोना संक्रमित, खुद ट्वीट कर दी जानकारी
अंडमान और निकोबार के 12 आइलैंड्स में High Impact Projects का विस्तार किया जा रहा है। मोबाइल और इंटरनेट कनेक्टिविटी की एक बहुत बड़ी समस्या का समाधान तो आज हो चुका है। इसके अलावा रोड, एयर और वॉटर के ज़रिए फिजिकल कनेक्टिविटी को भी सशक्त किया जा रहा है। आने वाले समय में अंडमान निकोबार, Port Led Development के हब के रूप में विकसित होने वाला है।अंडमान निकोबार दुनिया के कई Ports से बहुत Competitive Distance पर स्थित है।
Port Infrastructure के विकास में जो कानूनी अड़चनें थीं, उन्हें भी निरंतर दूर किया जा रहा है। सरकार का ध्यान, समंदर में Ease of Business को Promote करने और Maritime Logistics को सरल बनाने पर भी है।
आज जितना भी आधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर अंडमान निकोबार में तैयार हो रहा है, वो ब्लू इकॉनॉमी भी गति देगा। ब्लू इकॉनॉमी का एक अहम हिस्सा है Fisheries, Aquaculture और Sea Weed फार्मिंग।